account
0.00 0

Cart

No products in the cart.

Home > quiz

Bhagwat Geeta – 12

0%

You will get 15 minutes to solve 20 questions.


Bhagwat Geeta - 12

The aim of Vedamrita is to make the students of Yoga subject perfect for the preparation of NET-JRF and other competitive examinations ....

1 / 20

यथा योग्य आहार विहार करने वाले का कर्मों में यथा योग्य चेष्टा करने वाले का तथा यथा योग्य सोने जागने वाले को किसकी प्राप्ति हो जाती है?

2 / 20

लोक संग्रह को देखते हुए भी किसे करने योग्य बताया गया है?

3 / 20

कर्म न करने की अपेक्षा किसे करनाश्रेष्ट बताया गया है?

4 / 20

प्रकृति के गुणों से अत्यंत मोहित हुए मनुष्य किसमें आसक्त रहते हैं?

5 / 20

यज्ञ के निमित्त किए जाने वाले कर्मों के अतिरिक्त दूसरे कर्मों में मनुष्य समुदाय क्या करता है?

6 / 20

गीता के अनुसार संपूर्ण प्राणी किससे उत्पन्न होते हैं?

7 / 20

मनुष्य दोष दृष्टि से रहित और श्रद्धा युक्त होकर मत का सदा अनुसरण करते हुए किस से छूट जाते हैं?

8 / 20

जो अपने कर्तव्य का पालन नहीं करता वह इंद्रियों के द्वारा लोगों में रमण करने वाला पापायु पुरुष कैसा जीता है?

9 / 20

गीता के अनुसार कौन सा राजा आसक्ति से रहित कर्म के द्वारा परम सिद्धि को प्राप्त किया था?

10 / 20

कर्मयोग के आचरण करने वाले को क्या बताया गया है?

11 / 20

आसक्ति से रहित होकर कर्म करता हुआ मनुष्य किसको प्राप्त होता है?

12 / 20

निरंतर किससे रहित होकर सदा कर्तव्य कर्म करते रहना चाहिए?

13 / 20

संपूर्ण कर्मों को चित्त द्वारा किसको अर्पण करने के लिए बताया गया है?

14 / 20

गीता के अनुसार अन्न की उत्पत्ति किससे होती है?

15 / 20

यज्ञ में सदा कौन प्रतिष्ठित रहते हैं?

16 / 20

देवता किसके द्वारा उन्नत किए जा सकते हैं?

17 / 20

यज्ञ से बचे हुए अन्न को खाने वाला श्रेष्ठ पुरुष किससे मुक्त हो जाता है?

18 / 20

जो पापी लोग अपना शरीर पोषण करने के लिए अन्न पकाते हैं वह किसको खाते हैं

19 / 20

गीता के अनुसार कौन सा राजा आसक्ति से रहित कर्म के द्वारा परम सिद्धि को प्राप्त किया था?

20 / 20

कर्म समुदाय को किससे उत्पन्न होना बताया गया है?

Your score is

The average score is 0%

0%

© Copyright 2024. All rights reserved.